भोपाल।
मध्यप्रदेश भारतीय जनता महिला मोर्चा की प्रदेश अध्यक्ष श्रीमती लता ऐलकर ने कहा कि प्रदेश में महिला बाल विकास विभाग के कार्यकर्ताओं की सक्रियता से जहां लाडो अभियान सफल हुआ है वहीं पिछले तीन वर्षों में 82 हजार से अधिक अवयस्क किशोरियों को बाल विवाह के अभिशाप से मुक्ति दिलाई गई। इसमें आंगनवाडी कार्यकर्ताओं की भूमिका सराहनीय रही जिन्होंने गांवों में बेटी बचाओं, बेटी पढ़ाओं अभियान को जन-जन तक पहुंचाया और गांवों में बाल विवाह की परम्पराओं को समाप्त करने के अनुरूप वातावरण तैयार किया। यहॉ तक कि टेन्ट हाउस, बैंडबाजा, पंडित और शादी विवाह में सक्रिय भूमिका का निर्वाह करने वालो को अभियान से जोड़ा उन्हें समझाया गया कि बाल विवाह में भूमिका का निर्वाह भी उन्हें दंड का भागी बना सकता है। इसका अनुरूप नतीजा सामने आया है और अन्य राज्य मध्यप्रदेश का अनुसरण करने यहां पहुंच रहे हैं।
श्री लता ऐलकर ने कहा कि लाड़ली लक्ष्मी योजना की देश भर में चर्चा हो रही है और प्रदेश सरकारों का शिष्ठ मंडल मध्यप्रदेश पहुंचकर योजना का अध्ययन कर रहा है। इस तरह मध्यप्रदेश सामाजिक सुधारों के नवाचार में देश दुनिया में अग्रणी राज्य बन गया है।
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की पहल पर प्रदेश में 2006 में आरंभ हुई लाड़ली लक्ष्मी योजना में अब तक 25 लाख बालिकाएं लाभांवित हो चुकी है। योजना आरंभ हुए 11 साल हो चुके हैं और प्रारंभिक दौर में जन्मी बालिकाएं लाड़ली लक्ष्मी बनकर 6वीं कक्षा तक अध्ययन कर चुकी है।