• Fri. Nov 22nd, 2024

मध्यप्रदेश में इस वर्ष 7.50 लाख युवा को दिलवाया जायेगा स्व-रोजगार

ग्लोबल स्किल एण्ड एम्पलॉयमेंट पार्टनरशिप समिट में एमएसएमई राज्य मंत्री श्री संजय पाठक

भोपाल : गुरूवार, जून 1, 2017
सूक्ष्म, लघु, मध्यम उद्यम राज्य मंत्री श्री संजय-सत्येन्द्र पाठक ने कहा है कि मध्यप्रदेश में इस वर्ष 7 लाख 50 हजार युवा को स्व-रोजगार योजनाओं के माध्यम से रोजगार उपलब्ध करवाया जायेगा। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने एमएसएमई (सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम) उद्योगों को बढ़ावा देने के लिये नीति में संशोधन किये हैं। परिणाम यह हुआ है कि पिछले वर्ष प्रदेश में 87 हजार एमएसएमई पंजीकृत हुए हैं। इन इकाई में 9,500 करोड़ का पूँजी निवेश हुआ है और करीब 3.50 लाख युवा को रोजगार मिला है। एमएसएमई मंत्री श्री पाठक आज भोपाल में ग्लोबल स्किल एण्ड एम्पलॉयमेंट पार्टनरशिप समिट में हुए ‘मध्यप्रदेश में स्व-रोजगार के अवसर” सत्र को संबोधित कर रहे थे। सत्र में महिला-बाल विकास मंत्री श्रीमती अर्चना चिटनिस भी मौजूद थीं।

श्री पाठक ने कहा कि केन्द्र और राज्य में एमएसएमई का जीडीपी में योगदान के अंतर को कम करना है, जो राष्ट्रीय स्तर पर 37.54 प्रतिशत है, जबकि मध्यप्रदेश में 21.09 प्रतिशत तक पहुँचा है। एमएसएमई मंत्री ने कहा कि प्रदेश में 250 औद्योगिक क्षेत्र में 15 हजार हेक्टेयर से ज्यादा विकसित भूमि है। उन्होंने कहा कि उद्यमियों को प्रोत्साहित करने के लिये प्रदेश में इंक्यूबेशन और स्टार्ट अप भी तैयार की गयी है। स्टार्ट अप को मध्यप्रदेश में पूँजी की कमी महसूस नहीं होने दी जायेगी। इसके लिये मध्यप्रदेश वेंचर केपिटल फण्ड के माध्यम से पूँजी प्रदान की जायेगी। श्री पाठक ने कहा कि एक्सपायर स्कीम में देवास में लेदर क्षेत्र को समर्पित इंक्यूबेशन सेंटर स्थापित किया गया है। सतना में बाँस क्लस्टर के लिये एक इंक्यूबेशन सेंटर स्थापित किया गया है।

सत्र में स्टेट समन्वयक सेंट्रल बैंक ऑफ इण्डिया श्री अजय व्यास ने कहा कि प्रदेश में बैंकों के माध्यम से एमएसएमई सेक्टर में युवाओं को स्व-रोजगार के लिये ऋण उपलब्ध करवाया जा रहा है। चार वर्ष पहले प्रदेश में 17 हजार करोड़ रुपये का ऋण उपलब्ध करवाया जाता था। अब यह बढ़कर एमएसएमई सेक्टर में 40 हजार करोड़ तक पहुँच गया है। प्रदेश में एक लाख से अधिक स्व-सहायता समूह को क्रेडिट लिंकेज दिया जा चुका है। राष्ट्रीयकृत बैंक युवा उद्यमियों को प्रोत्साहित करने के लिये 51 ट्रेनिंग-सेंटर संचालित कर रहा है। सत्र में प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के सीईओ श्री जिजी मामेन ने बताया कि देशभर में मुद्रा योजना में 20 लाख 8 हजार महिला उद्यमी को आसान ब्याज दर पर ऋण उपलब्ध करवाया गया है। मुद्रा योजना के माध्यम से मेक-इन इण्डिया, डिजिटल इण्डिया, स्टार्टअप जैसे कार्यक्रम को सफलता से चलाया जा रहा है।

सत्र में ‘उद्योग क्षेत्र में स्व-रोजगार के नये अवसर” विषय के विशेषज्ञ श्री शेखर सन्याल ने बताया कि स्मार्ट फोन और इंटरनेट ने स्व-रोजगार के क्षेत्र में बड़े बदलाव किये हैं। इंटरनेट पर चलने वाली सेवा सेक्टर की कम्पनियों ने कृषि क्षेत्र में भी आधुनिक तकनीक की जानकारी किसानों को फोन पर उपलब्ध करवायी है। उन्होंने कहा कि अब कौशल में निरंतर परिवर्तन कर रोजगार के अवसर बढ़ाये जा सकते हैं। सत्र की शुरूवात में प्रमुख सचिव श्री व्ही.एल. कातांराव ने एमएसएमई विभाग की स्वारोजगार योजनाओं की जानकारी दी।

aum

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *