विद्यार्थियों के लिए अच्छी शिक्षा और स्वास्थ्य दोनों महत्वपूर्ण : मुख्यमंत्री चौहान shivrajsinghchouhan,mpcm,madhyapradesh chiefminister,chiefminister of madhyapradesh,mpnews,madhyapradesh news,MPVaccinationMahaAbhiyan,todayindia,today india
9वीं एवं 10वीं की कक्षाएँ 5 अगस्त से होंगी प्रारंभ
मुख्यमंत्री चौहान ने विद्यार्थियों, शिक्षक और अभिभावकों से किया वर्चुअल संवाद
मुख्यमंत्री चौहान ने कहा है कि विद्यार्थियों के लिए अच्छी शिक्षा और स्वास्थ्य, दोनों ही हमारे लिए महत्वपूर्ण हैं। प्रदेश में कोरोना संक्रमण को देखते हुए धीरे-धीरे हमने कक्षाएँ प्रारंभ की हैं। नवीं एवं दसवीं की कक्षाएं भी 5 अगस्त से प्रारंभ की जा रही हैं। अभी ये कक्षाएँ सप्ताह में दो-दो दिन ही लगेगी।
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि कोरोना काल में स्कूल, कॉलेज तो बंद थे, परन्तु शिक्षण कार्य निरंतर चलता रहा। फिर चाहे वो ऑनलाइन क्लासेस हों अथवा टीवी कार्यक्रम, रेडियो, वाट्सएप ग्रुप आदि के माध्यम से हों। इसमें अभिभावक और शिक्षकों ने भी अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने आज ‘विद्यार्थी संवाद कार्यक्रम’ में मुख्यमंत्री निवास से विद्यार्थी, शिक्षक एवं अभिभावकों से वर्चुअल चर्चा की। संवाद कार्यक्रम में स्कूल शिक्षा राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री इंदर सिंह परमार भी उपस्थित थे।
विद्यार्थी लक्ष्य करें निर्धारित
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि विद्यार्थियों को अपना लक्ष्य निर्धारित करना चाहिए। उन्होंने छात्रों को अपने लक्ष्य को अर्जुन की तरह सुनिश्चित करने के लिए कहा। जिस प्रकार तीरंदाजी के प्रशिक्षण के समय गुरु द्रोणाचार्य के यह पूछने पर कि उसे क्या दिखाई दे रहा है, अर्जुन ने कहा था कि उसे न पेड़ दिखाई दे रहा है और न चिड़िया, उसे सिर्फ चिड़िया की आँख दिखाई दे रही है, उसी प्रकार छात्रों को भी एकाग्रचित्त होकर अपनी पढ़ाई करनी चाहिए।
हमारा घर – हमारा विद्यालय
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि इस चुनौतीपूर्ण समय में को-एजुकेटर के रूप में अभिभावकों की भूमिका और अधिक बढ़ जाती है। आप लोग परिवार में पढ़ाई के लिए अनुकूल माहौल बनाएँ और “हमारा घर – हमारा विद्यालय” की परिकल्पना को साकार करें। अभिभावक शिक्षकों से जीवंत संपर्क बनाए रखें और बच्चों को पढ़ाई के साथ खेलकूद, व्यायाम, प्राणायाम आदि फिजिकल एक्टिविटी भी कराते रहें।
माता-पिता हैं पहले शिक्षक
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि बच्चों के पहले शिक्षक माता-पिता ही होते हैं। आप उन्हें कैसे संस्कार देते हैं, यह बच्चों का भविष्य तय करता है। मुझे याद है कि मेरे दोनों बेटों के जन्म के बाद मैंने उनके कान में सबसे पहले गायत्री मंत्र सुनाया था। आज भी मैं उन्हें धार्मिक ग्रंथों के अध्ययन के लिए प्रेरित करता रहता हूँ।
नवम्बर में ‘नेशनल अचीवमेंट सर्वे’
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि नई शिक्षा नीति के तहत नवम्बर में एन.ए.एस (राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वेक्षण) भी आयोजित किया जायेगा, जिसमें मध्यप्रदेश राज्य को टॉप 10 में लाने का लक्ष्य रखें। नई शिक्षा नीति में व्यावसायिक शिक्षा पर अधिक जोर दिया गया है। विद्यार्थियों को विश्व-स्तरीय और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा उपलब्ध कराने के लिए ‘कल्चर ऑफ एक्सीलेंस’ विकसित करने और फ्यूचर जॉब्स के लिए तैयार करने की दृष्टि से प्रदेश में सीएम राइज स्कूल खोले जायेंगे।
अपने स्वास्थ्य का भी ध्यान रखें
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने बच्चों से कहा कि पढ़ाई के साथ अपने स्वास्थ्य का भी ध्यान रखें। अच्छा एवं स्वास्थ्यवर्धक भोजन करें। भोजन तीन प्रकार का करें। हित भोग- जो हितकारी हो, मित भोग- जो भूख से कम खाया जाए और ऋतु भोग- जो मौसम के अनुरूप हो।
“गुजरा जमाना बचपन का……….”
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने “गुजरा जमाना बचपन का” पंक्तियाँ गाते हुए कहा कि मुझे आज भी अपने बचपन के दोस्त, अपने टीचर, शैतानियाँ और खान-पान सब याद आता है। हम भी स्कूल में बेर, कबीट, आम आदि खाया करते थे। आज आप लोग पिज्जा, बर्गर, कोल्ड ड्रिंक जैसे जंक फूड ज्यादा खा रहे हैं, जो सेहत के लिए नुकसानदायक हैं। आप ये खायें, परंतु कभी कभी।
संवाद कार्यक्रम में मुख्यमंत्री श्री चौहान ने विदिशा की कुमारी आस्था तिवारी, दमोह के प्रशांत, जबलपुर की मान्या साहू, रायसेन के मोहित शर्मा एवं भोपाल की श्रुति गुप्ता से चर्चा की। प्रमुख सचिव स्कूल शिक्षा श्रीमती रश्मी अरूण शमी ने कार्यक्रम की रूपरेखा रखी। संचालक राज्य शिक्षा केंद्र श्री एस. धनराजू भी उपस्थित थे।shivrajsinghchouhan,mpcm,madhyapradesh chiefminister,chiefminister of madhyapradesh,mpnews,madhyapradesh news,MPVaccinationMahaAbhiyan,todayindia,today india